रिपोर्ट तीरथ पनिका Ibn24x7 News
ब्यूरो चीफ मध्यप्रदेश
अनूपपुर(मध्यप्रदेश) -बिजुरी भारतीय रेलवे को कोल साइडिंग के रखरखाव में बरती जा रही लापरवाही प्रदूषण विभाग मौन। बिजुरी कमलेश मिश्रा भारतीय रेलवे द्वारा बिजुरी नगर के कपिलधारा कालोनी केकोल साइडिंग के रखरखाव में बरती जा रही लापरवाही नीचे से लेकर ऊपर तक के अधिकारी प्रसासन नेता मौन । विजुरी में संचालित कोल साइडिंग संचालन में जैसे कोई नियम कायदा ही लागू नही होता।
रेलवे के कोल साइडिंग में पर्यावरण एवं प्रदूषण नियमों की अवहेलना खुले आम किया जा रहा है। बेहिसाब और
बगैर नियमों व मापदंडों के संचालित कोल साइडिंग का को देखकर साफ प्रतीत हो रहा कि प्रदूषण विभाग जैसे इस सम्भाग में कार्यरत ही नही है या साइडिंग के ऊपर कृपा बरस रही है।
कोल साइडिंग से लगातार कोयले का डस्ट उड़कर आसपास के रिहायशी इलाकों को प्रभावित कर रहा है। इससे दो-तीन किमी की परि में लोगों को कई तरह की बीमारियों भी होने लगी है। कोल साइडिंग के लिए केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालय द्वारा जारी मापदंडों का खुलेआम उल्लंघन किया जा रहा है ।तय मापदंडों के अनुसार साइडिंग में कवर,शील्ड व परदे व कोल साइडिंग के आसपास क्षेत्र को ग्रीन बेल्ट में तब्दील करना जरूरी है। डस्ट को रोकने के लिए संचालित कोल साइडिंग में पानी का छिड़काव भी नहीं हो रहा है।
इसके कारण आसपास का पूरा रिहायशी इलाका कोयले के काले डस्ट से ढंक जाता है।
साइडिंग द्वारा कागजात में झूठा पर्यावरण एवं प्रदूषण नियमों की अनदेखी की कुछ तस्वीरें पेश कर दी जाती है। उक्त साइडिंग के कारनामो की लिस्ट बहुत लम्बी है यंहा रेलवे द्वारा बनाये गए स्टॉक रखने के दिशा निर्देशों की खुले आम धज्जियां उड़ाई जा रही है नियमतः जब तक साइडिंग में रखा एक रैक कोयला नही उठ जाता तब तक रेलवे द्वारा कोयला स्टॉक करने का परमिशन नही दिया जाता ।लेकिन यंहा रेलवे के कुछ लोगो और कोल साइडिंग संचालक की मिलीभगत से पिछले सप्ताह एक भी रैक न लगने के बाबजूद सप्ताह भर कोयले का स्टॉक किया जाता रहा ।जब जिले के आलाअधिकारियों से इस साइडिंग के अनियमितता के सम्बंध में बात की जाती है तो देखने की बात जरूर की जाती है परंतु कोई मुड़ कर नही देखता है।आने वाले वक्त में उक्त साइडिंग के अगल बगल निवास रत लोग सांस सहित कई बीमारियो की चपेट में आते जा रहे।
ब्यूरो चीफ मध्यप्रदेश
अनूपपुर(मध्यप्रदेश) -बिजुरी भारतीय रेलवे को कोल साइडिंग के रखरखाव में बरती जा रही लापरवाही प्रदूषण विभाग मौन। बिजुरी कमलेश मिश्रा भारतीय रेलवे द्वारा बिजुरी नगर के कपिलधारा कालोनी केकोल साइडिंग के रखरखाव में बरती जा रही लापरवाही नीचे से लेकर ऊपर तक के अधिकारी प्रसासन नेता मौन । विजुरी में संचालित कोल साइडिंग संचालन में जैसे कोई नियम कायदा ही लागू नही होता।
रेलवे के कोल साइडिंग में पर्यावरण एवं प्रदूषण नियमों की अवहेलना खुले आम किया जा रहा है। बेहिसाब और
बगैर नियमों व मापदंडों के संचालित कोल साइडिंग का को देखकर साफ प्रतीत हो रहा कि प्रदूषण विभाग जैसे इस सम्भाग में कार्यरत ही नही है या साइडिंग के ऊपर कृपा बरस रही है।
कोल साइडिंग से लगातार कोयले का डस्ट उड़कर आसपास के रिहायशी इलाकों को प्रभावित कर रहा है। इससे दो-तीन किमी की परि में लोगों को कई तरह की बीमारियों भी होने लगी है। कोल साइडिंग के लिए केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालय द्वारा जारी मापदंडों का खुलेआम उल्लंघन किया जा रहा है ।तय मापदंडों के अनुसार साइडिंग में कवर,शील्ड व परदे व कोल साइडिंग के आसपास क्षेत्र को ग्रीन बेल्ट में तब्दील करना जरूरी है। डस्ट को रोकने के लिए संचालित कोल साइडिंग में पानी का छिड़काव भी नहीं हो रहा है।
इसके कारण आसपास का पूरा रिहायशी इलाका कोयले के काले डस्ट से ढंक जाता है।
साइडिंग द्वारा कागजात में झूठा पर्यावरण एवं प्रदूषण नियमों की अनदेखी की कुछ तस्वीरें पेश कर दी जाती है। उक्त साइडिंग के कारनामो की लिस्ट बहुत लम्बी है यंहा रेलवे द्वारा बनाये गए स्टॉक रखने के दिशा निर्देशों की खुले आम धज्जियां उड़ाई जा रही है नियमतः जब तक साइडिंग में रखा एक रैक कोयला नही उठ जाता तब तक रेलवे द्वारा कोयला स्टॉक करने का परमिशन नही दिया जाता ।लेकिन यंहा रेलवे के कुछ लोगो और कोल साइडिंग संचालक की मिलीभगत से पिछले सप्ताह एक भी रैक न लगने के बाबजूद सप्ताह भर कोयले का स्टॉक किया जाता रहा ।जब जिले के आलाअधिकारियों से इस साइडिंग के अनियमितता के सम्बंध में बात की जाती है तो देखने की बात जरूर की जाती है परंतु कोई मुड़ कर नही देखता है।आने वाले वक्त में उक्त साइडिंग के अगल बगल निवास रत लोग सांस सहित कई बीमारियो की चपेट में आते जा रहे।
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