रिपोर्ट
रामकुमार सिंह
Ibn24x7news
पीएमओ के हस्तक्षेप के बाद कुशीनगर जनपद के पडरौना शहर में स्थित शहीद जेके त्रिपाठी गैस एजेंसी पर हिन्दुस्तान पेट्रोलियम कार्पोरेशन लिमिटेड ने बड़ी कार्यवाई की है।कम्पनी ने वितरक द्वारा
लिए गए अनाधिकृत रुपये लेने के सम्बंध में कम्पनी और वितरक के बीच किये गए वितरक करार उलंघन करने के सम्बंध में 85,858 रुपये का अर्थदण्ड लगाते हुए एजेंसी को धन उगाही करने के लिए कड़ी फटकार भी लगाई है।यह कार्यवाई बीते दिनों एजेंसी मालिक विनोद त्रिपाठी द्वारा उपभोक्ता से निःशुल्क सुविधा पर अवैध रूप से 600 रुपये लेने के मामले में की गई है।
मामला गैस एजेंसी में निशुल्क सुविधाओं में अवैध वसूली का था।शिकायतकर्ता वेदप्रकाश तिवारी द्वारा दो माह पूर्व में की गई शिकायत पर पहले तो मामले को कम्पनी के अफसर लीपापोती करने में जुटे हुए थे।लेकिन शिकायतकर्ता द्वारा जब शिकायत पीएमओ में की गयी तो गोरखपुर स्थित हिन्दुस्तान पेटोलियम कार्पोरेशन लिमिटेड के अधिकारियों के हाथ पांव फूलने लगे।जिसके बाद कम्पनी के उच्चाधिकारियों ने मामले को गम्भीरता से लेते हुए शिकायतकर्ता से जांच अधिकारी वर्णिका पाठक को भेजकर मिलने को कहा।जांच अधिकारी ने पूरी शिकायत की जांच की।जांच के बाद रिपोर्ट अपने मुख्य क्षेत्रिय प्रबन्धक को सौप दी।जिसके बाद मुख्य क्षेत्रिय प्रबन्धक ने कम्पनी पर अर्थदण्ड लगाने का आदेश दे दिया।कम्पनी ने गैस एजेंसी मालिक विनोद त्रिपाठी पर अवैध रूप से रुपये लेने का दोषी पाया तथा 85,858 रुपये का अर्थदण्ड लगाते हुए भविष्य के कड़ी चेतावनी भी दी।
क्या है पूरा मामला..
बीते जुलाई माह में कुशीनगर जनपद के नेबुआ नौरंगिया थाना क्षेत्र के लिलाधर छपरा निवासी वेदप्रकाश तिवारी ने अपने पिता के नाम से रहे कनेक्शन को ओवर एज की वजह से अपने नाम से स्थानांतरण करने के लिए आवेदन किया था।जब नया सीबी पेपर लेने के लिए वेदप्रकाश तिवारी शहीद जेके त्रिपाठी गैस एजेंसी में गए तो एजेंसी मालिक ने 900 रुपये की मांग की।जब 600 रुपये देकर रसीद की मांग की गई तो एजेंसी मालिक भड़क गए और जबरजस्ती पैसा लेकर अपने कर्मचारियों के साथ मिलकर दुर्व्यवहार भी किये।मजबूर कंज्यूमर ने ऑनलाइन शिकायत दर्ज की।विभाग से जांच होने पर एजेंसी मालिक ने शिकायत वापस लेने का दबाव बनाना शुरू कर दिया।दबाव बनाने के क्रम में एजेंसी मालिक अपराधिक किस्म के लोगों के साथ वेदप्रकाश के घर पहुँचकर शिकायत वापस ना लेने पर जान से मारने की धमकी सहित उपद्रव भी किया।मुकामी थाने में एफआईआर भी दर्ज है।इसी मामले को कम्पनी ने संज्ञान लेते हुए बड़ी कार्यवाई करते हुए 85,858 रुपये का अर्थदण्ड लगाया है।
लिए गए अनाधिकृत रुपये लेने के सम्बंध में कम्पनी और वितरक के बीच किये गए वितरक करार उलंघन करने के सम्बंध में 85,858 रुपये का अर्थदण्ड लगाते हुए एजेंसी को धन उगाही करने के लिए कड़ी फटकार भी लगाई है।यह कार्यवाई बीते दिनों एजेंसी मालिक विनोद त्रिपाठी द्वारा उपभोक्ता से निःशुल्क सुविधा पर अवैध रूप से 600 रुपये लेने के मामले में की गई है।
मामला गैस एजेंसी में निशुल्क सुविधाओं में अवैध वसूली का था।शिकायतकर्ता वेदप्रकाश तिवारी द्वारा दो माह पूर्व में की गई शिकायत पर पहले तो मामले को कम्पनी के अफसर लीपापोती करने में जुटे हुए थे।लेकिन शिकायतकर्ता द्वारा जब शिकायत पीएमओ में की गयी तो गोरखपुर स्थित हिन्दुस्तान पेटोलियम कार्पोरेशन लिमिटेड के अधिकारियों के हाथ पांव फूलने लगे।जिसके बाद कम्पनी के उच्चाधिकारियों ने मामले को गम्भीरता से लेते हुए शिकायतकर्ता से जांच अधिकारी वर्णिका पाठक को भेजकर मिलने को कहा।जांच अधिकारी ने पूरी शिकायत की जांच की।जांच के बाद रिपोर्ट अपने मुख्य क्षेत्रिय प्रबन्धक को सौप दी।जिसके बाद मुख्य क्षेत्रिय प्रबन्धक ने कम्पनी पर अर्थदण्ड लगाने का आदेश दे दिया।कम्पनी ने गैस एजेंसी मालिक विनोद त्रिपाठी पर अवैध रूप से रुपये लेने का दोषी पाया तथा 85,858 रुपये का अर्थदण्ड लगाते हुए भविष्य के कड़ी चेतावनी भी दी।
क्या है पूरा मामला..
बीते जुलाई माह में कुशीनगर जनपद के नेबुआ नौरंगिया थाना क्षेत्र के लिलाधर छपरा निवासी वेदप्रकाश तिवारी ने अपने पिता के नाम से रहे कनेक्शन को ओवर एज की वजह से अपने नाम से स्थानांतरण करने के लिए आवेदन किया था।जब नया सीबी पेपर लेने के लिए वेदप्रकाश तिवारी शहीद जेके त्रिपाठी गैस एजेंसी में गए तो एजेंसी मालिक ने 900 रुपये की मांग की।जब 600 रुपये देकर रसीद की मांग की गई तो एजेंसी मालिक भड़क गए और जबरजस्ती पैसा लेकर अपने कर्मचारियों के साथ मिलकर दुर्व्यवहार भी किये।मजबूर कंज्यूमर ने ऑनलाइन शिकायत दर्ज की।विभाग से जांच होने पर एजेंसी मालिक ने शिकायत वापस लेने का दबाव बनाना शुरू कर दिया।दबाव बनाने के क्रम में एजेंसी मालिक अपराधिक किस्म के लोगों के साथ वेदप्रकाश के घर पहुँचकर शिकायत वापस ना लेने पर जान से मारने की धमकी सहित उपद्रव भी किया।मुकामी थाने में एफआईआर भी दर्ज है।इसी मामले को कम्पनी ने संज्ञान लेते हुए बड़ी कार्यवाई करते हुए 85,858 रुपये का अर्थदण्ड लगाया है।
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