रामकुमार सिंह ibn24x7news
कुशीनगर
इंडियन फेडरेशन ऑफ वर्किंग जर्नलिस्ट (आईएफडब्ल्यूजे) का एक प्रतिनिधि मंडल शनिवार को केंद्रीय श्रम मंत्री संतोष गंगवार से लखनऊ में मिला। आईएफडब्ल्यूजे प्रतिनिधि मंडल ने श्रम मंत्री को पत्रकारों के वेतन, मजीठिया आयोग की सिफारिशों सहित अन्य समस्याओं से अवगत कराया और ज्ञापन सौंपा। केंद्रीय श्रम मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) संतोष गंगवार ने
पत्रकारों कों मजीठिया वेतन आयोग की सिफारिशों के अनुरूप वेतन दिए जाने के सम्बन्ध में गंभीरता से विचार कर लागू कराने का आश्वासन दिया। प्रतिनिधिमंडल में वरिष्ठ पत्रकार भास्कर दुबे, नावेद शिकोह, अजय त्रिवेदी, इंद्रेश रस्तोगी, मोहम्मद अतहर रजा, अनुराग तिवारी आदि पत्रकारगण शामिल थे।
[10/21, 6:07 PM] रामकुमार कुशीनगर: "पत्रकारों का कहना था कि उनके वेतन के लिए गठित मजीठिया वेज बोर्ड की सिफारिशें लागू करने के संदर्भ में केंद्र सरकार सहित सुप्रीम कोर्ट अंतिम रूप से आदेश दे चुकी है। इस आदेश का अनुपालन न करने की दशा में अवमानना की कारवाई के संबंध में भी सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया है। स्पष्ट आदेशों व केंद्र सरकार की मंशा के बाद भी देश के अधिकांश और उत्तर प्रदेश में तो और भी ज्यादा मीडिया समूहों नें अपने कर्मियों को मजीठिया वेतन आयोग की सिफारिशों के अनुरूप वेतन नही दिया है।
पत्रकारों ने कहा कि श्रम मंत्री से मांग है कि न केवल सभी मीडिया समूहों में कर्मियों को मजीठिया के अनुरूप वेतन देना सुनिश्चित कराया जाए बल्कि न लागू करने वाले प्रबंधन पर कड़ी कारवाई भी की जाए। जिन समाचार पत्रों ने मजीठिया वेतन आयोग की सिफारिशों की मांग करने वाले कर्मचारियों का उत्पीड़न किया है, उन पर कारवाई की जाए। समिति की सिफारिशें लागू न करने वाले समाचार पत्र समूहों के खिलाफ केंद्रीय श्रम मंत्रालय उचित कारवाई करे। इसके अतरिक्त सभी पत्रकारों (मान्यता व गैर मान्यता प्राप्त) को एक केंद्रीकृत यूनिवर्सल हेल्थ कवरेज योजना के दायरे में लाया जाए, जिससे गंभीर बीमारी की दशा में उनका निशुल्क ईलाज हो सके। साथ ही सभी पत्रकारों के लिए निशुल्क दुर्घटना बीमा योजना शुरू की जाए !
कुशीनगर
इंडियन फेडरेशन ऑफ वर्किंग जर्नलिस्ट (आईएफडब्ल्यूजे) का एक प्रतिनिधि मंडल शनिवार को केंद्रीय श्रम मंत्री संतोष गंगवार से लखनऊ में मिला। आईएफडब्ल्यूजे प्रतिनिधि मंडल ने श्रम मंत्री को पत्रकारों के वेतन, मजीठिया आयोग की सिफारिशों सहित अन्य समस्याओं से अवगत कराया और ज्ञापन सौंपा। केंद्रीय श्रम मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) संतोष गंगवार ने
पत्रकारों कों मजीठिया वेतन आयोग की सिफारिशों के अनुरूप वेतन दिए जाने के सम्बन्ध में गंभीरता से विचार कर लागू कराने का आश्वासन दिया। प्रतिनिधिमंडल में वरिष्ठ पत्रकार भास्कर दुबे, नावेद शिकोह, अजय त्रिवेदी, इंद्रेश रस्तोगी, मोहम्मद अतहर रजा, अनुराग तिवारी आदि पत्रकारगण शामिल थे।
[10/21, 6:07 PM] रामकुमार कुशीनगर: "पत्रकारों का कहना था कि उनके वेतन के लिए गठित मजीठिया वेज बोर्ड की सिफारिशें लागू करने के संदर्भ में केंद्र सरकार सहित सुप्रीम कोर्ट अंतिम रूप से आदेश दे चुकी है। इस आदेश का अनुपालन न करने की दशा में अवमानना की कारवाई के संबंध में भी सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया है। स्पष्ट आदेशों व केंद्र सरकार की मंशा के बाद भी देश के अधिकांश और उत्तर प्रदेश में तो और भी ज्यादा मीडिया समूहों नें अपने कर्मियों को मजीठिया वेतन आयोग की सिफारिशों के अनुरूप वेतन नही दिया है।
पत्रकारों ने कहा कि श्रम मंत्री से मांग है कि न केवल सभी मीडिया समूहों में कर्मियों को मजीठिया के अनुरूप वेतन देना सुनिश्चित कराया जाए बल्कि न लागू करने वाले प्रबंधन पर कड़ी कारवाई भी की जाए। जिन समाचार पत्रों ने मजीठिया वेतन आयोग की सिफारिशों की मांग करने वाले कर्मचारियों का उत्पीड़न किया है, उन पर कारवाई की जाए। समिति की सिफारिशें लागू न करने वाले समाचार पत्र समूहों के खिलाफ केंद्रीय श्रम मंत्रालय उचित कारवाई करे। इसके अतरिक्त सभी पत्रकारों (मान्यता व गैर मान्यता प्राप्त) को एक केंद्रीकृत यूनिवर्सल हेल्थ कवरेज योजना के दायरे में लाया जाए, जिससे गंभीर बीमारी की दशा में उनका निशुल्क ईलाज हो सके। साथ ही सभी पत्रकारों के लिए निशुल्क दुर्घटना बीमा योजना शुरू की जाए !
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